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मनुष्य एक सामाजिक प्राणी है। समाज में परस्पर व्यवहार करने के लिए वह अधिकतर बातचीत का सहारा लेता है। यह बातचीत दो-तीन या अधिक व्यक्तियों के बीच हो सकती है। बातचीत को हम संवाद भी कहते हैं। यह संवाद (बातचीत) आमने-सामने भी हो सकता है और फोन के माध्यम से भी।
संवाद लेखन (Samvad Lekhan) | Dialogue Writing in Hindi Topics, Examples
हमें एक ऐसी व्यावहारिक व्याकरण की पुस्तक की आवश्यकता महसूस हुई जो विद्यार्थियों को हिंदी भाषा का शुद्ध लिखना, पढ़ना, बोलना एवं व्यवहार करना सिखा सके। ‘हिंदी व्याकरण‘ हमने व्याकरण के सिद्धांतों, नियमों व उपनियमों को व्याख्या के माध्यम से अधिकाधिक स्पष्ट, सरल तथा सुबोधक बनाने का प्रयास किया है।
संवाद लेखन की परिभाषा
दो, तीन या अधिक व्यक्तियों की परस्पर बातचीत को ज्यों का त्यों लिखना संवाद-लेखन कहलाता है। संवाद व्यक्तियों के नाम लिखकर उनके द्वारा बोली गई बात को (ज्यों-का-त्यों) उसी रूप में लिख दिया जाता है।
दो अथवा दो से अधिक व्यक्तियों के मध्य हुई बातचीत को संवाद कहते हैं। संवादों का प्रयोग विभिन्न रूपों में होता है। लघुकथा, कहानी, उपन्यास आदि में पात्रों के मध्य संवाद होता है। एकांकी, नाटक, फ़िल्म और टी.वी. धारावाहिक के पात्रों में भी संवाद होता है। संवाद किसी भी विषय पर हो सकते हैं।
संवाद-लेखन अपने आप में एक साहित्यिक विधा का रूप लेता जा रहा है। चलचित्रों, नाटकों तथा एकल अभिनय में भी संवाद महत्त्वपूर्ण होते हैं।
संवाद लेखन की विशेषता
किसी भी प्रसंग, घटना या कहानी के लिए संवाद लिखते समय निम्नलिखित बिंदुओं को ध्यान में रखा जाना चाहिए।
- संवाद में प्रभावशाली, सरल और रोचक भाषा का प्रयोग होना चाहिए।
- विचारों को तर्कसम्मत रूप से प्रस्तुत करना चाहिए।
- देश काल और व्यक्ति के अनुरूप संवाद की शब्दावली एवं भाषा का चयन करना चाहिए।
- संवाद में स्वाभाविक प्रवाह बना रहना चाहिए।
- संवाद छोटे व रोचक होने चाहिए।
- कहानी या घटना को आगे ले जाने वाले होने चाहिए।
- उचित मुहावरों व शब्दों का प्रयोग होना चाहिए।
- चरित्र को बखूबी प्रस्तुत करने वाले होने चाहिए।
- संवाद छोटे-छोटे होने चाहिए। इससे वे प्रभावशाली हो जाते हैं।
- संवादों की भाषा सरल और शैली रोचक होनी चाहिए।
- संवादों में मुहावरों और लोकोक्तियों का प्रयोग किया जा सकता है।
- संवादों की भाषा पात्रानुसार और विषयानुसार होनी चाहिए।
संवाद लेखन के उदाहरण
आइए संवाद-लेखन के कुछ उदाहरण देखें और संवाद-लेखन के लिए ध्यान देने योग्य बातें
- Samvad Lekhan Kuch Purush aur Stree ke Beech | कुछ पुरुष और स्त्री के बीच संवाद
- Samvad Lekhan Kachhua aur Do Hanson ke Beech | कछुआ और दो हंसों के बीच संवाद
- Samvad Lekhan Padhai Ko Lekar Teen Bachon ke Beech | पढ़ाई को लेकर तीन बच्चों के बीच संवाद लेखन
- Samvad Lekhan Mata Pita ke Aadhar Ko Lekar Shikshak aur Vidyarthi ke Beech | माता-पिता के आदर को लेकर शिक्षक और विद्यार्थी के बीच हुआ संवाद लेखन
- Samvad Lekhan Taj Mahal Ki Sair Ko Lekar Do Mitro ke Beech Mein | ताजमहल की सैर को लेकर मित्रों के बीच संवाद लेखन
- Samvad Lekhan Anushaasan Ke Mahatv Par Pita aur Putr Ke Beech | अनुशासन के महत्व पर पिता और पुत्र के बीच संवाद लेखन
- Samvad Lekhan Malik Sevika aur Maharani ke Beech | संवाद लेखन मालिन, सेविका और महारानी के बीच
- Samvad Lekhan Maa, Papa aur Bete ke Beech | संवाद लेखन मम्मी, पापा और पिंटू के बीच
- Samvad Lekhan Between Satyavati and Rishi | संवाद लेखन सत्यव्रत और ऋषि के बीच
- Patri Par Dukan Lagane Wale Do Dukandar ke Beech Mein Samvad Lekhan | दो पटरी पर दुकान लगाने वालों के बीच संवाद लेखन